उन्होंने कहा मुझसे, मैं तेरा दीवाना हूं
तुमको तो आना ही है
फिर रोक सकी नहीं अपना कदम
कि प्यार तो मुझको निभाना ही है
कितनी ही रातों से मैंने नींद गंवायी है
न जाने कब से चैन मुझे नहीं आया है
तेरे विरह में अब तो जीया ना जाये
मेरी जां ये इतना बढ़ आया है
उन्होंने कहा मुझसे, मैं तेरा प्यासा हूं
तुमको प्यास बुझाना ही है......
उनके प्यार में खिल गई मैं
मेरे प्यार में रंग गये वो
ना-ना करती रह गई
पर अंग से अंग लग गये वो
उन्होंने कहा मुझसे
मैं तेरे हुस्न का कायल
इसको तो मुझे पाना ही है....
दिल धड़के दिलवर के लिए
हम तो उनको करते हैं सलाम
प्यार में नजदीकियां क्या दूरियां
सबकुछ तो है उनके ही नाम
उन्होंने कहा मुझसे, मैं तेरे प्यार का मारा
तुम्हें आशियां सजाना ही है...
-कुलीना कुमारी
No comments:
Post a Comment